Delhi: भारत की अर्थव्यवस्था में भारतीय रेल का भी काफी महत्व है। रोजाना लाखों यात्री भारतीय रेल में सफर करते हैं लेकिन इसके बावजूद भी भारतीय रेल में यात्रियों को बेहतर सुविधा नहीं दी जा रही है। दरअसल लंबे समय से यात्रियों द्वारा ट्रेनों में गंदे टॉयलेट की शिकायत मिल रही है। यह शिकायत कम होने की बजाए लगातार बढ़ रही हैं।
लेकिन अब खबर आ रही है कि जल्द ही यात्रियों को ट्रेनों के गंदे टॉयलेट से छुटकारा मिलने वाला है। इसके लिए उत्तर रेलवे द्वारा योजना को तैयार किया गया है जिसमें शुरुआत में कई प्रीमियम ट्रेनों के टॉयलेट अपडेट किए जाएंगे जिससे यात्रियों को टॉयलेट में भी साफ-सफाई मिल सकेगी। आइए जानते हैं खबर को विस्तार से
ट्रेनों में गंदे टॉयलेट की मिल रही है शिकायत
दरअसल भारतीय रेल में गंदे टॉयलेट की शिकायत रुकने का नाम नहीं ले रही है। यात्री भी गंदे टॉयलेट से परेशान हो गए हैं। जिसके कारण उन्हें कई समस्याओं का सामना करना पड़ रहा है। राजधानी, शताब्दी और दुरंतो जैसी प्रीमियम ट्रेनों के टॉयलेट का भी बुरा हाल है। एसी कोच के टॉयलेट भी साफ नहीं है। लेकिन अब रेलवे समस्या का समाधान करने के लिए कई कड़े कदम उठा रहा है इसके लिए कुछ समय पहले ट्रेनों के टॉयलेट गंदे मिलने पर ठेकेदारों पर भी आर्थिक जुर्माना लगाया गया था। इसके अलावा भी रेलवे द्वारा कई कड़े कदम उठाए जा रहे हैं।
ट्रेनों के टॉयलेट को किया जाएगा अपग्रेड
रिपोर्ट में दावा किया जा रहा है कि उत्तर रेलवे द्वारा 1000 कोच के टॉयलेट को अपग्रेड करने का प्रस्ताव रेल मंत्रालय को भेज दिया गया है। उम्मीद है कि 1 फरवरी को पेश होने वाले बजट में इस प्रस्ताव को मंजूरी मिल सकती है। जानकारी के अनुसार अब ट्रेनों में बायो टॉयलेट को अपग्रेड कर मॉडर्न टॉयलेट लगाए जाएंगे। जिससे पानी की खपत कम होगी। साथ ही टॉयलेट साफ-सुथरे भी रहेंगे। शुरुआत में राजधानी और शताब्दी में इन टॉयलेट को अपग्रेड किया जाएगा। एक टॉयलेट को अपग्रेड करने पर करीब ढाई लाख रुपए का खर्चा आता है।